सोमवार, 31 अक्तूबर 2011

छठ की तैयारी

कई दिनों की कोशिश के बाद आज हिंदी फॉण्ट में लिखना संभव हो पाया है | छठ पूजा का समय नजदीक आ जाने से घर पर इस अवसर पर होने वाले पूजा पाठ तथा तैयारी को लेकर सभी बहुत सतर्क हो जाते है तथा अपने लिए उपयुक्त काम और उसमे अपनी भागीदारी सुनिश्चित करने की कोशिश करने लगते हैं

बुधवार, 26 अक्तूबर 2011

gaon ki yaad

गाँव की याद आते ही गाँव के प्रवेश द्वार पर गाँव के बड़का बाबा श्री श्री रैनाथ ब्रह्म का संस्मरण हो जाता है तथा उनका आशीर्वाद मिल जाता है | बाबा के स्थान पर सत्यनारायण भगवान की कथा सुनने और प्रसाद खाने के लिए घंटों इंतजारी करने एवं अपनी बारी आने पर प्रसाद (पंचामृत) मिलने की खुशी का कोई मिठाई से तुलना नहीं की जा सकती है | 

मंगलवार, 25 अक्तूबर 2011


आज दीपावली के दिन अपने गाँव से दूर रहने पर कैसा लगता है यह सिवाय स्वयं के कोई और नहीं बता सकता है | विशेष रूप से वे जो अपने गाँव से दूर रहकर नौकरी करते हों | विभिन्न अवसरों पर गाँव की याद कुछ इस तरह से ताजा हो जाती है की बस कुछ सूझता ही नहीं | खैर ब्लॉग्गिंग के आज के युग में यह एक बहुत अच्छी तकनीक हमारे हाथ लगी है जिससे मन को हल्का करके सुकून महसूस किया जा सकता है |
सभी को दीपावली की शुभकामनाएं एवं मुबारक

शुक्रवार, 21 अक्तूबर 2011

shubh deepawali

यह एक बहुत अच्छा संयोग है कि मेरा ब्लोग्ग दीपावली के अवसर पर शुरू हुआ है . सबसे पहले मै अपने गांववालों आत्मीयजनों मित्रों को  दीपावली की शुभकामना अर्पित करता हूँ. क्योंकि इस ब्लोग्ग के केंद्रबिंदु वे ही हैं. हम गांववासी गाँव में पढ़ पल कर बड़े हुए तथा रोजी रोटी तथा जीवनयापन की जद्दोजहद में इधर उधर जहाँ भी जीवन ने अवसर दिया अपने को वहीँ स्थापित कर अपना जीवन जीने लगे. परन्तु गाँव तो गाँव है उसकी याद हमेशा हृदय में जीवंत बनी रही. निश्चित रूप से आज के इन्टरनेट के युग में तथा ब्लॉग्गिंग जैसे सशक्त माध्यम के बहुत आसानी से सहज हो जाने के कारण आपस में संवाद कायम कर पाना आसन हो गया हैं. मैं अपने समस्त  गांववासी बंधुओं को इस अवसर पर हार्दिक शुभकामना देता हूँ तथा उनके खुशहाली की भगवान से प्रार्थना करता हूँ .

beginning

                                मेरा गांव बनकटा मिश्र उत्तरप्रदेश के देवरिया जिला के पूर्वी भाग में सलेमपुर भाटपार रानी रोड पर महुआबारी से एक किलोमीटर दूर छोटी गंडक नदी के किनारे पर स्थित है । मैंने यह ब्लॉग अपने आत्मीयजनों से सजीव संवाद के लिये बनाया है । यद्यपि ब्लॉगिंग के बारे में लगभग कुछ भी नहीं जानता हूं लेकिन अन्यों के ब्लॉग पढ़ने के बाद मेरी ईच्छा जाग्रित हुई कि ब्लॉगिंग संवाद कायम करने के लिये एक अच्छा प्लेटफ़ोर्म है । अतः सभी विज्ञ जनों एवम आत्मीयजनों से विनम्र निवेदन है कि वे अपना मार्गदर्शन एवम सहयोग से मेरी प्रेरणास्रोत बनने की कृपा करें । समय एवम जानकारी बढने के साथ निश्चित रुप से इसे सन्तुष्टि प्रदान करने वाला ब्लॉग बनाने में भगवान का आशीर्वाद की कामना करता हूं ।